क्रिप्टो घोटाला: “यो-एक्सचेंज” के नाम पर करोड़ों की ठगी, सैकड़ों निवेशक लुटे
मुनाफ़े और विदेश यात्रा का झांसा देकर प्रमोटर हुए फरार, FIR दर्ज

बिलासपुर। बिलासपुर प्रेस क्लब में बुधवार को हुए खुलासे ने सनसनी फैला दी। पीड़ित निवेशक मनीराम पटेल ने बताया कि एक कथित क्रिप्टो प्लेटफॉर्म “यो-एक्सचेंज” ने सैकड़ों लोगों को रोज़ाना 1% लाभ और मलेशिया-दुबई यात्रा का सपना दिखाकर करोड़ों की ठगी की है। अब कंपनी की वेबसाइट बंद हो चुकी है और सभी प्रमोटर फरार हैं।
कैसे बुना गया ठगी का जाल?
शुरुआत सोशल मीडिया के ज़रिए हुई, जहाँ रांची निवासी शुभम सिंह ने इस प्रोजेक्ट को सुरक्षित और भरोसेमंद बताया।
निवेशकों को समझाया गया कि कंपनी का ऑडिट इंटरनेशनल ब्लॉकचेन ऑडिटर हैकन ने किया है।
1500 डॉलर निवेश करने वालों को मलेशिया टूर और प्रोजेक्ट की जानकारी देने का वादा किया गया।
ज़ूम मीटिंग्स और ऑफलाइन इवेंट्स से भरोसा जमाया गया।
मलेशिया इवेंट बना टर्निंग प्वाइंट
1 अगस्त 2025 को मलेशिया में आयोजित प्रोग्राम में 1100 से ज्यादा लोग शामिल हुए। यहाँ दुबई और थाईलैंड यात्रा का नया ऑफर सामने आया, जिसके बाद निवेशकों की संख्या तेजी से बढ़ी।
लेकिन कुछ ही हफ्तों बाद कंपनी ने तकनीकी खराबी और हैकिंग का बहाना बनाकर पेमेंट रोक दिए और वेबसाइट बंद कर दी। सभी प्रमोटरों ने मोबाइल नंबर भी बदल दिए।
तारबाहर थाने में मामला दर्ज
पीड़ित मनीराम पटेल ने बताया कि शिकायत के बाद एसएसपी राजनेश सिंह के निर्देश पर तारबाहर थाने में FIR दर्ज की गई है।
आरोपियों में रांची निवासी जफर इमाम, गंगाधर कुमार, दिलेश्वर मुंडा, शादाब अंसारी, आकाश कुमार और शुभ सिंह शामिल हैं।
पुलिस ने अपराध क्रमांक 318 (4), 3(5) के तहत मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।
निवेशकों ने प्रशासन से मांग की है कि दोषियों को कड़ी सज़ा दी जाए और उनकी मेहनत की कमाई वापस दिलाई जाए।
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