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    “*पेट्रोल कम डाला, सवाल किया तो मार पिट शुरू हुई बिलासपुर में गुंबर पेट्रोल पंप बना गुंडों का अड्डा  मालिक चुप, प्रशासन बेखबर*”

     

    “पेट्रोल कम डाला, सवाल किया तो मार पिट शुरू हुई बिलासपुर में गुंबर पेट्रोल पंप बना गुंडों का अड्डा  मालिक चुप, प्रशासन बेखबर”

    बिलासपुर।

    छत्तीसगढ़ के बिलासपुर शहर में पेट्रोल पंप पर ग्राहकों की सुरक्षा पर एक बार फिर गंभीर सवाल उठ खड़े हुए हैं। सिविल लाइन थाना क्षेत्र स्थित गुंबर पेट्रोल पंप पर शनिवार को एक युवक के साथ दिल दहला देने वाली घटना हुई। युवक ने पेट्रोल कम दिए जाने का विरोध किया, तो पंप के 7-8 कर्मचारियों ने मिलकर उसे बेरहमी से पीट दिया। यह पूरी वारदात कैमरे में कैद हो गई और अब सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है, जिससे शहरवासियों में भारी आक्रोश है।

     

    ग्राहक बना शिकार, पंप बना अपराधियों का अड्डा

    घटना का वीडियो देख कोई भी दहल जाएगा। युवक अपनी बाइक में पेट्रोल भरवाने पहुंचा था। जब उसने संदेह जताया कि पेट्रोल कम डाला गया है, तो कर्मचारियों ने पहले बहस की और फिर अचानक हमला कर दिया। कुछ ही पलों में 7-8 कर्मचारी इकट्ठा हो गए और उसे घेरकर पीटने लगे। कोई रोकने वाला नहीं था। घटना के वक्त पेट्रोल पंप का मालिक भी मौजूद नहीं था – या अगर था, तो उसने आंखें मूंद लीं।

     

    पेट्रोल पंप मालिकों की चुप्पी, क्या मिली है गुंडों को छूट?

    स्थानीय लोगों का आरोप है कि गुंबर पेट्रोल पंप पर इस तरह की घटनाएं पहले भी हो चुकी हैं, लेकिन कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई। सवाल यह भी उठता है – क्या पेट्रोल पंप मालिक जानबूझकर आंख मूंदे बैठे हैं? क्या कर्मचारियों को खुली छूट दे दी गई है कि जो चाहे वो करें?

     

    प्रशासन पर भी सवाल

    घटना के बाद पीड़ित युवक ने सिविल लाइन थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई है। पुलिस का कहना है कि वीडियो के आधार पर आरोपियों की पहचान की जा रही है। लेकिन लोगों का गुस्सा अब प्रशासन पर भी है – आखिर जब पहले भी शिकायतें मिली थीं, तो कार्रवाई क्यों नहीं हुई?

     

    जनता का फूटा गुस्सा, कार्रवाई की मांग

    वीडियो वायरल होते ही शहर में आक्रोश फैल गया है। सोशल मीडिया पर लोग पेट्रोल पंप के लाइसेंस रद्द करने, मालिक और कर्मचारियों पर सख्त धाराओं में मुकदमा दर्ज करने की मांग कर रहे हैं। कई लोगों ने पंप का बहिष्कार करने की भी बात कही है।

     

    अब जरूरी है सख्त कदम

    इस घटना ने न सिर्फ ग्राहक सुरक्षा पर सवाल खड़े किए हैं, बल्कि यह भी साफ किया है कि कई पेट्रोल पंप केवल मुनाफा कमाने और धोखाधड़ी के केंद्र बन चुके हैं। अब वक्त आ गया है कि जिला प्रशासन और तेल कंपनियां ऐसे पंपों पर सख्त कार्रवाई करें – वरना अगला शिकार कोई और हो सकता है।

     

     

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      “पेट्रोल कम डाला, सवाल किया तो मार पिट शुरू हुई बिलासपुर में गुंबर पेट्रोल पंप बना गुंडों का अड्डा  मालिक चुप, प्रशासन बेखबर” बिलासपुर। छत्तीसगढ़ के बिलासपुर शहर में पेट्रोल पंप पर ग्राहकों की सुरक्षा पर एक बार फिर गंभीर सवाल उठ खड़े हुए हैं। सिविल लाइन थाना क्षेत्र स्थित गुंबर पेट्रोल पंप पर शनिवार को एक युवक के साथ दिल दहला देने वाली घटना हुई। युवक ने पेट्रोल कम दिए जाने का विरोध किया, तो पंप के 7-8 कर्मचारियों ने मिलकर उसे बेरहमी से पीट दिया। यह पूरी वारदात कैमरे में कैद हो गई और अब सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है, जिससे शहरवासियों में भारी आक्रोश है।   ग्राहक बना शिकार, पंप बना अपराधियों का अड्डा घटना का वीडियो देख कोई भी दहल जाएगा। युवक अपनी बाइक में पेट्रोल भरवाने पहुंचा था। जब उसने संदेह जताया कि पेट्रोल कम डाला गया है, तो कर्मचारियों ने पहले बहस की और फिर अचानक हमला कर दिया। कुछ ही पलों में 7-8 कर्मचारी इकट्ठा हो गए और उसे घेरकर पीटने लगे। कोई रोकने वाला नहीं था। घटना के वक्त पेट्रोल पंप का मालिक भी मौजूद नहीं था – या अगर था, तो उसने आंखें मूंद लीं।   पेट्रोल पंप मालिकों की चुप्पी, क्या मिली है गुंडों को छूट? स्थानीय लोगों का आरोप है कि गुंबर पेट्रोल पंप पर इस तरह की घटनाएं पहले भी हो चुकी हैं, लेकिन कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई। सवाल यह भी उठता है – क्या पेट्रोल पंप मालिक जानबूझकर आंख मूंदे बैठे हैं? क्या कर्मचारियों को खुली छूट दे दी गई है कि जो चाहे वो करें?   प्रशासन पर भी सवाल घटना के बाद पीड़ित युवक ने सिविल लाइन थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई है। पुलिस का कहना है कि वीडियो के आधार पर आरोपियों की पहचान की जा रही है। लेकिन लोगों का गुस्सा अब प्रशासन पर भी है – आखिर जब पहले भी शिकायतें मिली थीं, तो कार्रवाई क्यों नहीं हुई?   जनता का फूटा गुस्सा, कार्रवाई की मांग वीडियो वायरल होते ही शहर में आक्रोश फैल गया है। सोशल मीडिया पर लोग पेट्रोल पंप के लाइसेंस रद्द करने, मालिक और कर्मचारियों पर सख्त धाराओं में मुकदमा दर्ज करने की मांग कर रहे हैं। कई लोगों ने पंप का बहिष्कार करने की भी बात कही है।   अब जरूरी है सख्त कदम इस घटना ने न सिर्फ ग्राहक सुरक्षा पर सवाल खड़े किए हैं, बल्कि यह भी साफ किया है कि कई पेट्रोल पंप केवल मुनाफा कमाने और धोखाधड़ी के केंद्र बन चुके हैं। अब वक्त आ गया है कि जिला प्रशासन और तेल कंपनियां ऐसे पंपों पर सख्त कार्रवाई करें – वरना अगला शिकार कोई और हो सकता है।